महबूबा मुफ्ती ने नीतीश कुमार और चंद्रबाबु नायडू से ‘वक़्फ़ बिल’ पर हस्तक्षेप करने का किया आग्रह

Mehbooba Mufti On Waqf Bill: वक़्फ़ (संशोधन) विधेयक की जांच कर रही संसद की ज्वॉइंट पार्लियामेंट्री कमेटी (JPC) ने गुरुवार, 30 जनवरी को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को ड्राफ्ट रिपोर्ट सौंप दी है. जब से इस विधेयक के संसोधन की बात शुरू हुई है तब से विपक्ष इसका विरोध कर रहा है. अब इसी बीच जम्मू- कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू को पत्र लिखते हुए वक़्फ़ (संशोधन) विधेयक पर हस्तक्षेप करने का आग्रह किया है. महबूबा मुफ्ती ने कहा कि वे दोनों इस बिल का समर्थन ना करें.

‘पिछले एक दशक से मुसलमानों को हाशिए पर रखा गया’

जम्मू- कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू को पत्र लिखते हुए कहा, प्रस्तावित वक्फ संशोधन विधेयक ऐसे समय में आया है, जब पिछले एक दशक से मुसलमानों को व्यवस्थित रूप से राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक रूप से वंचित, और हाशिए पर रखा गया है.

‘बिना किसी राय के इसकी प्रक्रिया हास्यास्पद’

उन्होंने आगे कहा कि शायद सबसे अधिक चिंता की बात यह है कि संयुक्त संसदीय समिति (JPC) को प्रस्तुत असहमति नोटों के रूप में विपक्षी दलों द्वारा उठाई गई शंकाओं की बिल्कुल अनदेखी की गई. इस असंवैधानिक और सत्तावादी बिल से सबसे अधिक प्रभावित होने वाले समुदाय से बिना किसी राय के इसकी प्रक्रिया हास्यास्पद लगती है.

‘संसोधन का असली उद्देश्य वक्फ अधिनियम की नींव को कमजोर करना’

देश भर में वक्फ के स्वामित्व वाली संपत्तियों के सुधार के नाम पर संसोधन का असली उद्देश्य वक्फ अधिनियम की नींव को कमजोर करना है. इस विधेयक में हर प्रस्तावित संशोधन न केवल मुस्लिम समुदाय के हितों का खंडन करता है, बल्कि हमारे संविधान द्वारा दी गई मौलिक अधिकारों पर सीधा हमला भी करता है.
यह विभाजनकारी विधेयक बहुसंख्यकवाद की स्पष्ट अभिव्यक्ति है जिसने 2014 के बाद से कट्टरता को बढ़ावा देते हुए मुसलमानों को हाशिए पर धकेल दिया है. भारत के लिए गांधी के दृष्टिकोण का सार बदला जा रहा है. और इस देश को एक साथ बांधने वाले धर्मनिरपेक्ष ताने- बाने को कमजोर किया जा रहा है.

‘नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू से हस्तक्षेप करने का किया आग्रह’

महबूबा मुफ्ती ने आगे कहा कि आप हमेशा हमारे संविधान में दृढ़ विश्वास रखते रहे हैं और लगातार गंगा जमुनी भाईचारे की भावना का समर्थन किया है. आज, एनडीए के प्रमुख सदस्यों के रूप में आप इसे रोकने के लिए समर्थ्य है.
मैं आप दोनों से आग्रह करती हूं कि आप इसमें हस्तक्षेप करें. और हमारी राष्ट्रीय एकता सांप्रदायिक सद्भाव को नुकसान पहुंचाने से रोकने का काम करें.

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