अमेठी (भेटुआ): निर्वाचन आयोग व सरकार के द्वारा ग्रामसभा का प्रतिनिधित्व करने के लिए महिलाओं को आरक्षण देकर सीट आरक्षित की जाती है, जिसके तहत ग्रामसभा का प्रतिनिधित्व महिला कर सके. इसके लिए सरकार द्वारा भी लगातार मिशन शक्ति अभियान के तहत महिलाओं को आगे लाकर सशक्त किया जाता है. इसके इतर देश में मनाए जाने वाले 76वां स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर महिला अधिकारों की धज्जियां उड़ती हुई दिखीं.
जहां एक तरफ ग्रामसभा में प्रधान के पद पर महिला को कमान सौंपी गई है तो वहीं आज भी वह बंद कमरे में ही रही. ग्रामसभा के सार्वजनिक व सरकारी स्थान पर आज झंडा फहराने का निर्देश सभी को दिया गया था तो वहीं झंडा फहराने की जिम्मेदारी आज भी उनके प्रतिनिधि ही उठा लिए.
27 महिला प्रधान के हाथों में है गांव की कमान
विकास खंड भेटुआ के 47 ग्रामसभा में से कुल 27 ग्रामसभा में महिलाओं को कमान सौंपी गई है. जिनको आज अपने गांव में बने पंचायत भवन पर झंडा फहराने की जिम्मेदारी दी गई थी. झंडा फहराने के दौरान आज भी वह गायब रहीं. उनके प्रतिनिधि व उनके समर्थक के द्वारा झंडा फहरा कर खानापूर्ति की गई.
विकास खंड भेटुआ के आधा दर्जन से अधिक गांव में ग्रामसभा का प्रतिनिधित्व महिला करती हैं लेकिन झंडा फहराने का कार्य उनके प्रतिनिधि के द्वारा किया गया. ऐसी दशा में जहां एक तरफ महिलाओं को आगे लाने के लिए प्रयास किया जा रहा है तो वहीं ऐसे कार्य से यह प्रयास फेल हो रहा है.

