Rajasthan Religious Conversion Bill: राजस्थान सरकार ने सोमवार, 3 फरवरी को अवैध धर्मांतरण पर रोक लगाने के लिए “राजस्थान विधि विरुद्ध धर्म- संपरिवर्तन प्रतिषेध बिल, 2025” को विधानसभा में पेश किया. इस बिल के अंतर्गत अवैध रूप से धर्म परिवर्तन कराने के मामले में दोषी पाए जाने वाले व्यक्ति को 10 साल तक की कैद और 50,000 रुपये तक के जुर्माने की सजा देने का प्रावधान किया गया है.
प्रस्तावित अधिनियम के तहत अपराध गैर-जमानती होगा. इस विधेयक को राजस्थान सरकार के मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने सदन में रखा.
मर्जी से धर्म परिवर्तन करने पर 60 दिन पहले सूचना देनी होगी
वसुंधरा राजे की सरकार के समय साल 2008 में मर्जी से धर्म परिवर्तन करने पर 60 दिन पहले कलेक्टर को इसकी सूचना देनी होगीभी ये बिल लाया गया था. मगर यह लागू नहीं हो पाया था. आज सदन में पेश हुए नए कानून के तहत लव जिहाद करने वाले व्यक्ति की शादी को पारिवारिक न्यायालय निरस्त कर सकता है. झारखंड, कर्नाटक और गुजरात में पहले से ये कानून लागू है.
दोषी पाए जाने पर कितनी सजा का प्रावधान?
इस बिल में नाबालिग या अनुसूचित जाति (एससी) एवं अनुसूचित जनजाति (एसटी) की महिला का अवैध रूप से धर्मांतरण कराने वालों को दो साल की कैद, जिसे बढ़ाकर दस साल तक किया जा सकता है और 25,000 रुपये के जुर्माने की सजा देने की व्यवस्था की गई है. विधेयक में सामूहिक धर्म परिवर्तन के मामले में तीन साल की जेल की सजा देने, जिसे 10 साल तक बढ़ाया जा सकता है और 50,000 रुपये का जुर्माना लगाने का प्रावधान किया गया है.
पक्ष- विपक्ष ने क्या कहा ?
सदन में धर्मांतरण और लव जिहाद बिल पर बोलते हुए नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने कहा, अभी बिल को सदन में पेश किया गया है. इस पर चर्चा होगी तभी कुछ कह पाऊंगा. वहीं सरकार में कैबिनेट मंत्री अविनाश गहलोत ने कहा, यह बिल आज ही विधानसभा के सदन पर आया है. इस पर आने वाले समय पर बहस होगी. हम इसे पढ़ेंगे और जो भी इसकी जानकारियां हैं विस्तार से अवगत कराएंगे.