रामपुर: भड़काऊ भाषण देने के मामले में सपा नेता आजम खान को रामपुर कोर्ट ने तीन साल की कैद और 2000 रुपये जुर्माना अदा करने की सजा सुनाई है। हालांकि सजा सुनाने के बाद कोर्ट ने आजम खान को जमानत दे दी।
2019 के लोकसभा चुनाव में आजम खान रामपुर संसदीय सीट से सपा-बसपा गठबंधन के प्रत्याशी थे। उन्होंने अप्रैल 2019 में अपने चुनाव प्रचार के दौरान मिलक कोतवाली क्षेत्र के खातानगरिया गांव में जनसभा को संबोधित किया था।
अमर उजाला की खबर के अनुसार, आरोप था कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और तत्कालीन जिलाधिकारी आंजनेय कुमार सिंह को लेकर भड़काऊ भाषण दिया था। आजम खान के भाषण का वीडियो वायरल हुआ था। इस मामले में वीडियो अवलोकन टीम के प्रभारी अनिल कुमार चौहान की ओर से मामले की रिपोर्ट मिलक कोतवाली में दर्ज कराई गई थी।
पुलिस ने विवेचना करते हुए चार्जशीट कोर्ट में दाखिल कर दी थी। मामले की सुनवाई एमपी-एमएलए (मजिस्ट्रेट ट्रायल) निशांत मान की कोर्ट में हुई है। आजम खान बृहस्पतिवार को दोपहर लगभग दो बजे कोर्ट पहुंचे। कोर्ट ने उनको आईपीसी धारा 153-ए, 505-ए और 125 लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम में दोषी करार दिया।
दोषी करार दिए जाने के बाद आजम खान को कोर्ट की कस्टडी में ले लिया गया। शाम लगभग 4.30 कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया, जिसमें उनको तीन साल की कैद और 2000 रुपये जुर्माना अदा करने की सजा सुनाई गई।
इसके बाद आजम खान को जमानत दे दी गई। तीन साल की सजा सुनाए जाने के बाद आजम खान की विधायकी खतरे में पड़ सकती है। क्योंकि इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का आदेश है कि अगर सांसदों और विधायकों को किसी भी मामले में 2 साल से ज्यादा की सजा हुई है तो ऐसे में उनकी सदस्यता रद्द हो जाएगी।
वहीं दूसरी तरफ न्यायालय द्वारा 3 साल जेल की सजा सुनाए जाने पर समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान ने रामपुर में कहा कि ये अधिकतम सजा थी जिसमें ज़मानत अनिवार्य प्रावधान है, जिस आधार पर ज़मानत मिली। लेकिन मैं इंसाफ का कायल हो गया।
वहीं समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान के वकील विनोद यादव ने रामपुर में मीडिया से बात करते हुए कहा कि हमने अभी फैसला पढ़ा नहीं है। लेकिन हम इस फैसले के खिलाफ अपील करेंगे। ज़मानत मिल गई है। अपील फाइल करने के लिए एक सप्ताह का समय मिला है।