दिल्ली: गोकुलपुरी आग हादसे में 7 की मौत, पीड़ितों से मिले सीएम केजरीवाल, मृतकों के परिजनों के लिए मुआवजे का ऐलान

पूर्वी दिल्ली के गोकुलपुरी इलाके की झुग्गियों में शुक्रवार और शनिवार की दरमियानी रात भीषण आग लग गई. घटना की सूचना दमकल विभाग को दी गई, जिसपर दमकल की गाड़ियों ने मौके पर पहुंच कर आग पर काबू पाया. इस हादसे में सात लोगों की मौत की खबर सामने आई है. फिलहाल दमकल विभाग ने सात शव बरामद किए हैं.

इस हादसे के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल गोकुलपुरी पहुंचे, जहां बीती रात झुग्गियों में आग लगने से सात लोगों की मौत हो गई.

उन्होंने इस हादसे पर कहा कि मैं इस हादसे से दुखी हूं जिसमें 7 लोगों की मृत्यु हो गई है. बहुत मेहनत के बाद ग़रीब अपना ठिकाना बनाते हैं. सरकार मृतकों के परिवारों को 10 लाख रुपए, मृतक बच्चों के परिवारों वालों को 5 लाख रुपए और जिनकी झोपड़ियां जली हैं उन्हें 25,000 रुपए देगी.

उत्तर पूर्व दिल्ली के ADCP देवाश कुमार पांडे ने मीडिया को बताया कि ‘तकरीबन एक बजे हमें आग लगने की सूचना मिली थी जिसके बाद हम घटनास्थल पर पहुंचे और दमकल विभाग को ख़बर दी. तकरीबन 4 बजे आग पर क़ाबू पाया गया. हादसे में 30 झुग्गियां जलकर राख हो चुकी है और 7 लोगों की मृत्यु हुई है.’

वहीं दिल्ली फायर डायरेक्टर अतुल गर्ग ने बताया कि ‘आग काफी बड़ी थी, 7 लोगों के शव अलग-अलग जगह से मिले हैं. ऐसा प्रतीत हो रहा कि ये लोग सोते रह गए क्योंकि आग बहुत तेज़ी से फैली और वो निकल नहीं पाए. हादसे में 60 झुग्गियां जल गई हैं, अभी तक आग लगने की वजह नहीं पता चली है.’

ईटीवी भारत खबर के अनुसार, 1484 वर्ग किलोमीटर में घनी बसी दिल्ली अब एक नई समस्या से जूझ रही है. गर्मियों का मौसम शुरू होते ही राजधानी दिल्ली में आग लगने की घटनाएं बढ़ने लगती हैं. दिल्ली का दमकल विभाग इसकी अलग से तैयारियां तो करता है, लेकिन दिल्ली की झुग्गियां हर साल खाक होती हैं. फैक्ट्रियों में अचानक लगी आग से लाखों के नुकसान के साथ ही जानें भी जाती हैं.

इस महीने मार्च के 12 दिनों में राजधानी में आग लगने के चार बड़े हादसे हो चुके हैं. इसमें अब तक करोड़ों का नुकसान हुआ है और कई जानें जा चुकी हैं. पूर्वी दिल्ली के गोकुलपुरी इलाके की झुग्गियों में शुक्रवार और शनिवार की दरमियानी रात भीषण आग लग गई. घटना की सूचना दमकल विभाग को दी गई, जिसपर दमकल की गाड़ियों ने मौके पर पहुंच कर आग पर काबू पाया. इस दुर्घटना में सात लोगों की मौत की खबर सामने आई है. फिलहाल दमकल विभाग ने सात शव बरामद किए हैं.

10 मार्च यानी बीते बुधवार को ही दिल्ली के बवाना में फैक्ट्री में भीषण आग लगने से दर्दनाक हादसा हो गया. इस हादसे में फैक्ट्री की जांच के दौरान फैक्ट्री की तीसरी मंजिल की सीढ़ियों पर एक मजदूर का जला हुआ शव मिला. कई घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पा लिया गया था, लेकिन दमकल विभाग को फैक्ट्री के अंदर किसी मजदूर की मौजूदगी के बारे में जानकारी नहीं थी, जिसके चलते एक मासूम मजदूर को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा. बताया गया कि फैक्ट्री में आग लगने से अंदर काम करने वाले मजदूरों में भगदड़ मच गई, जिस कारण मृत मजदूर का किसी को कोई ध्यान नहीं रहा.

सात मार्च को छतरपुर के डेरा गांव में एक टेंट हाउस के गोदाम में भीषण आग लग गई. वहां मौजूद मजदूर आग बुझाने की कोशिश करने लगे, लेकिन नाकाम रहे. ऐसे में टेंट हाउस के गोदाम में अफरा-तफरी का माहौल बन गया. देखते ही देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया. आग की लपटें काफी ऊंची उठने लगीं. धुएं से इलाके में अंधेरा छा गया. आसपास के मकानों को भी लोगों ने खाली करा लिया. आग लगने की सूचना पर काफी देर बाद मौके पर पहुंची फायर ब्रिगेड ने कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया. सूचना मिली कि टेंट हाउस में आग पर्दों वाले हिस्से में लगी थी, जिसने देखते ही देखते सजावटी सामानों के साथ ही इलेक्ट्रिक सामानों को भी अपनी जद में ले लिया.

आठ मार्च को दिल्ली के बवाना इंडस्ट्रियल एरिया में बीते मंगलवार भीषण आग लगने की खबर सामने आई. यहां एक प्लास्टिक फैक्ट्री में आग लग गई. सूचना मिलने पर दमकल विभाग कई गाड़ियां मौके पर पहुंच कर आग पर काबू पाया, साथ ही हादसे की गंभीरता को देखते हुए दमकल अधिकारियों द्वारा ड्रोन कैमरों से भी निगरानी रखी गई. फैक्ट्री के अंदर प्लास्टिक का सामान और कैमिकल होने के चलते आग रह-रह कर दुबारा लग रही थी. खैर इस हादसे में किसी की जान नहीं गई. हादसे के बाद पूरी बिल्डिंग आग की वजह से जर्जर हो गई है.

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