Shashi Tharoor On Emergency: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और सांसद शशि थरूर पिछले कुछ समय से लगातार अपनी ही पार्टी कांग्रेस पर निशाना साध रहे हैं. साथ ही दूसरी तरफ मोदी सरकार की नीतियों की तारीफ कर रहे हैं. बीते दिनों पहलगाम में हुए आंतकी हमले के बाद भारत ने ऑरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान पर एयर स्ट्राइक की थी. ऑपरेशन सिंदूर के बाद दुनिया के कई बड़े देशों में भारत का पक्ष रखने के लिए सांसदों की टीम बनाई गई थी, उसमें कांग्रेस सांसद शशि थरूर भी शामिल थे. जहां कांग्रेस नेता ने विदेशी धरती पर मादी सरकार की जमकर तारीफ की थी. थरूर को टीम में शामिल करने और शरूर के बयानों की कांग्रेस ने कड़ी अलोचना की थी. इसी बीच अब कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने एक बार फिर कांग्रेस के शासन में हुए आपातकाल की कड़ी निंदा की.
कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने आपातकाल की निंदा की है और इसे भारत के इतिहास का एक काला अध्याय बताया है. शशि थरूर ने कहा कि कैसे आजादी खत्म की जाती है, ये 1975 में सभी ने देखा है.
‘केवल एक काले अध्याय के रूप में याद नहीं किया जाना चाहिए’
मलयालम दैनिक दीपिका में गुरुवार, 10 जुलाई को आपातकाल पर प्रकाशित एक लेख में शशि थरूर ने कहा कि आपातकाल को भारत के इतिहास के केवल एक काले अध्याय के रूप में याद नहीं किया जाना चाहिए, बल्कि इसके सबक को पूरी तरह से समझा जाना चाहिए.
‘संजय गांधी ने जबरन नसबंदी अभियान चलाया’
कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने लिखा कि इंदिरा गांधी के बेटे संजय गांधी ने जबरन नसबंदी अभियान चलाया, जो इसका एक कुख्यात उदाहरण बन गया. गरीब ग्रामीण इलाकों में, मनमाने लक्ष्यों को पूरा करने के लिए हिंसा और जबरदस्ती का इस्तेमाल किया गया. नई दिल्ली जैसे शहरों में, झुग्गियों को बेरहमी से ध्वस्त और साफ किया गया. हजारों लोग बेघर हो गए. उनके कल्याण पर ध्यान नहीं दिया गया.
शशि थरूर ने कहा कि लोकतंत्र को हल्के में नहीं लिया जाना चाहिए. यह एक अनमोल विरासत है जिसे निरंतर पोषित और संरक्षित किया जाना चाहिए.