बिहार में छात्रों का विरोध प्रदर्शन जारी, बनारस में पुलिसिया दमन के खिलाफ युवा प्रतिरोध सभा आयोजित

आरआरबी (Railway Recruitment Board) एनटीपीसी ( Non-Technical Popular Categories) के रिजल्ट में धांधली (RRB- NTPC Result 2021) का आरोप लगाते हुए पिछले कई दिनों से बिहार में छात्रों का प्रदर्शन जारी है. आज भी पटना-गया रेलखंड के तारेगना रेलवे स्टेशन पर सुबह से ही अभ्यर्थी रेलवे ट्रैक पर हंगामा कर रहे हैं.

पिछले दिनों पटना के राजेन्द्रनगर टर्मिनल पर छात्रों की एकजुटता और पुलिस के द्वारा लाठीचार्ज किए जाने के बाद इस विरोध की आग बिहार के विभिन्न जिलों तक पहुंच गई है. मुजफ्फरपुर, सीतामढ़ी, वैशाली, बक्सर, नवादा सहित अन्य जिलों में भी ट्रेनें रोकी जा रही हैं.

वहीं, आक्रोशित छात्रों ने बताया कि, ‘सरकार छात्रों के साथ नाइंसाफी कर रही है. एनटीपीसी मेजा ग्रुप डी की बहाली में सिर्फ एक परीक्षा हुआ करती थी. अब दो परीक्षाएं होने लगी है. वहीं परीक्षा के रिजल्ट में भी मनमानी की जा रही है, जिसको लेकर सरकार पर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं.

बता दें कि हाल ही में जारी किए गए आरआरबी एनटीपीसी की परीक्षा के परिणाम में धांधली का आरोप लगाकर छात्र लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. रेलवे और सरकार के खिलाफ छात्रों का यह प्रदर्शन दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है. छात्रों को तितरबितर करने के लिए पुलिस ने जमकर लाठियां चलाई और आंसू गैस के गोले दागे जिसकी वजह से बहुत सारे छात्रों को चोटें आई हैं.

वहीं दूसरी तरफ, छात्रों पर हुए पुलिसिया दमन के खिलाफ बनारस में युवा प्रतिरोध सभा आयोजित की गई और बिहार युवा-छात्र संघर्ष समिति के बैनर तले प्रदर्शन किया गया.

छात्रों का कहना है कि बिहार में प्रतिभावान युवा-छात्र पलायन को मजबूर हैं. देश-प्रदेश में नौकरी की भारी कमी, नौकरी के पदों में कटौती और परीक्षा समय से न कराने से लेकर भर्ती प्रक्रिया में अनिमियता आदि समस्याएं व्याप्त है लेकिन न तो केंद्र सरकार की ओर से न तो राज्य सरकार की तरफ से सुधार के लिए प्रयास हो रहा है.

एनटीपीसी (RRB-NTPC 2019) के स्नातक स्तरीय परीक्षा में गड़बड़ी हुई. 2019 में भर्ती के लिए विज्ञापन निकाला गया और आंदोलन के बाद 2021 में परीक्षा हुई. रिजल्ट में गड़बड़ी की गई, जबकि कई छात्र परीक्षा में सुधार की मांग पर आंदोलित थे.

अपने हक़ को लेकर जब छात्र-युवा सड़को पर निकलते हैं तो सरकार की पुलिस छात्रों-नौजवानों के ऊपर लाठीचार्ज और गोलियां चलाती है. ताज़ा उदाहरण पटना में प्रदर्शनरत छात्राओं पर लाठीचार्ज, आंसू गैस चलाना नीतीश कुमार सरकार के युवा-छात्र विरोधी चरित्र को दर्शाता है. लगातार केंद्र और राज्य सरकार विभिन्न प्रतियोगी परीक्षा को सफलतापूर्वक संपन्न कराने में विफल रही है. किसी भी परीक्षा का प्रश्नपत्र लीक हो जाना आम हो गया है. इसके विरोध में जब छात्र आवाज उठाते हैं तब उन्हें दबाने के लिए पुलिस की लाठी और जेल का इस्तेमाल किया जाता है. लखनऊ दिल्ली पटना जैसे किसी भी राजधानी में युवा का हक हर रोज मारा जा रहा है.

हमारी मांग है कि-
1. लाठीचार्ज के दोषी अधिकारियों पर त्वरित कार्यवाही हो.
2. प्रदर्शनकारी छात्रों पर किसी भी तरह की पुलिसिया कार्यवाही को तुरंत रोका जाये.
3. परीक्षा में हुई धांधली की स्वतंत्र न्यायिक जांच हो.

इस सभा में मुख्य रूप से राजेश, राणा रोहित, राज, आशुतोष, शिवराज आदर्श, उमेश, मुरारी, शशिकांत, कुंदन, अभिषेक, अंकित,विकास, अभिनव आदि शामिल रहे.

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