अमेरिका ने हाल के हफ्तों में सऊदी अरब को बड़ी संख्या में, मिसाइल रोधी ‘पैट्रियट’ प्रणाली भेजी हैं. इस कदम को बाइडन प्रशासन अमेरिका-सऊदी अरब के तेजी से जटिल होते संबंधों में तनाव को कम करने के प्रयास के तौर पर देखता है.
प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने रविवार रात को पुष्टि की कि सऊदी अरब को ‘एंटीमिसाइल इंटरसेप्टर’ भेजे गए हैं.
अधिकारी ने गोपनीयता की शर्त पर बताया कि राष्ट्रपति जो बाइडन ने वादा किया है कि ‘अमेरिका इस क्षेत्र में अपने दोस्तों के साथ खड़ा रहेगा.’ उनके इसी वादे की तर्ज पर यह फैसला लिया गया है.
व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जैक सुलिवान ने रविवार को यमन में सक्रिय हूती बलों की निंदा की. हूती बलों ने सऊदी अरब के अहम ऊर्जा केंद्रों पर कई ड्रोन और मिसाइल हमले किए, जिससे एक केंद्र पर आग लग गयी और एक अन्य केंद्र पर तेल उत्पादन अस्थायी रूप से बंद हो गया.
सऊदी अरब का कहना है कि हूती विद्रोहियों के हमलों को रोकने के लिए ये इंटरसेप्टर अहम है. सऊदी अरब का मार्च 2015 से हूती के साथ युद्ध चल रहा है.
बाइडन के कार्यभार संभालने के बाद से अमेरिका-सऊदी अरब के संबंध तनावपूर्ण रहे हैं. राष्ट्रपति ने शहजादे मोहम्मद बिन सलमान के साथ सीधे बातचीत करने से इनकार कर दिया है और हूती बलों को आतंकवादी समूहों की सूची से हटा दिया है.
(इनपुट पीटीआई-भाषा)